केंद्र सरकार के कर्मचारियों में 18 महीने के बाकी डीए DA arrear of 18 months को लेकर नाराजगी बढ़ती जा रही है। केंद्रीय कर्मचारी लगातार सरकार से एरिअर भुगतान की मांग कर रहे हैं। आपको बता दें कि कोरोना काल में सरकार ने इस पर रोक लगाया था ।
एक तरफ जहां केंद्रीय कर्मचारियों के महंगाई भत्ते में बढ़ोतरी की चर्चा तेज है वहीं दूसरी और 18 महीने से डीए बकाया है बताया जा रहा है कि सरकार कर्मचारियों के मंहगाई भत्ते के साथ ही 18 महीने का बकाया डीए एरिअर पर भी विचार कर सकती है।
खाते में आ रही है बंपर सैलरी
आने वाले कुछ दिनों में अगर सरकार कर्मचारियों के पक्ष में फैसला लेती है तो उनको 18 महीने का बकाया डीए एरियर मिल जाता है तो इससे कर्मचारियों को जबरदस्त फायदा होगा मतलब सीधे तौर पर कहा जाए तो उनके खाते में बंपर सैलरी आ सकती है
कोरोना काल में डीए बकाया पर रोक
नेशनल काउंसिल ऑफ JCM के शिव गोपाल मिश्रा के अनुसार लेवल एक के कर्मचारियों के डीए एरियर में 11880-00 रुपये से लेकर 35554-00 रुपये तक की राशि आएगी । जबकि लेवल 13 या लेवल 14 के लिए एक कर्मचारी को 144200-00 रुपये से 218200-00 रुपये तक दिया जा सकता है। कोरोना काल में ही कर्मचारियों का डी ए रोका गया था।
इतने दिनों से नहीं मिला डी ए का बकाया
आपको बता दें कि कर्मचारियों को माह जनवरी 2020 से माह जून 2021 तक का महंगाई भत्ता बाकी है जो नहीं मिला है और अब केंद्रीय कर्मचारियों की मांग तेज हो गई हैं इसी तरह पेंशनभोगियों ने भी मोदी सरकार से अपने बकाया डीए के लिए अपील की लेकिन इसका कोई उचित समाधान नहीं निकल पाया है इसलिए पेंशनभोगियों मे भी नाराजगी का माहौल है
इस तरह होगी गणना
DA Arrear calculation : आपको बता दें कि जिन केंद्रीय कर्मचारियों का न्यूनतम ग्रेड 18000-00 रुपये लेवल-1 बेसिक पे स्केल 18000-00 से 56900-00 है वे 4320-00 रुपये 1800 का 4% × 6 का इंतजार कर रहे हैं।ऐसे ही 56900-00 का 4 फीसदी × 6 कर्मचारियों को 13,656-00 रुपये का इंतजार है केंद्रीय कर्मचारियों के पे मैट्रिक्स के अनुसार न्यूनतम वेतन 18000-00 रुपये है तो उन्हें डीए एरियर के तौर पर 11880-00 रुपये मिलेंगे।
गत वर्ष 14 जुलाई 2021 को कैबिनेट की बैठक आयोजित की गतयी थी। इस बैठक में कर्मचारियों के महंगाई भत्ते में 11 प्रतिशत की वृद्धि हो गयी थी जिसको 1 जुलाई 2021 से लागू कर दिया गया है। ऐसे में यह कहना सही है कि अगर केंद्र सरकार ने वास्तव में कर्मचारियों के पक्ष में फैसला दिया तो उनके खाते में बड़ी रकम आएगी।